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कठोर नहीं वरन सहज, सजग, सरल एवं विनम्र बनता है अल्पविराम- सीईओ श्री कोठारी

प्रदेश मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव की मंशानुसार राज्य आनंद संस्थान मध्यप्रदेश के निदेशक सत्य प्रकाश आर्य के निर्देश पर धार जिले के 13 विकासखंडों में कलेक्टर प्रियंक मिश्रा एवं सीईओ जिला पंचायत जिला अभिषेक चौधरी के संयुक्त मार्गदर्शन में विकासखंड स्तरों पर विभिन्न विभागों के सभी अधिकारियों एवं कर्मचारियों की कार्य क्षमता में वृद्धि हेतु एवं कार्य के दौरान तनाव रहित कार्य करने व सकारात्मक सोच के गुरु अल्पविराम कार्यशालाओं का आयोजन किया जा रहा है। इसी क्रम में बुधवार को जिले में 12 वीं एकदिवसीय का अल्पविराम कार्यशाला का आयोजन धार जिले के आनंद विभाग के जिला संपर्क व्यक्ति डॉ. दिनेश कश्यप के समन्वय से जनपद पंचायत तिरला के सभागृह में मास्टर ट्रेनर्स के बी मानसरे, डी पी एल खरगोन संजय गुप्ता एवं नारायण फर्कले द्वारा अल्पविराम सत्रों को लेकर किया गया। सत्र में अपने विचार व्यक्त करते हुए अतिथि सीईओ जनपद तिरला अतुल कोठारी ने कहा कि कठोर नहीं वरन सहज, सरल एवं व्यक्ति के जीवन में अल्पविराम का प्रवेश हुआ समझो, मानव हृदय इसका स्थान है, हमें जीवन में दूसरे के सुख के साथ स्वयं में सुकून की अनुभूति होने लगे तो समझ लीजिएगा अल्पविराम कार्य कर रहा है। मैं आनंद में दुनिया आनंद में से एक कदम आगे बढ़कर हितग्राहियों, गरीबों, दुखियों, वंचितों की पंक्ति में अंतिम क्रम पर इंतजार कर रहा। व्यक्ति यदि हमारे कार्य से सुख एवं आनंद की अनुभूति करने का अवसर पा सके तो वह है आनंद और जब यह आनंद रूपी झरना सतत बहने लगता है, तो अधिकारियों, कर्मचारियों एवं सभी को बहुत सहज एवं सरल बना देता है। आम गरीब और वंचित वर्ग की जनता ऐसे अधिकारी और कर्मचारियों से मिलने में संकोच, उदासी, दुख भरा महसूस ही नहीं करता, वह हितग्राही संबंधित अधिकारी, कर्मचारी कासम्मान करते हैं। कार्यक्रम की शुरुआत मां सरस्वती के चित्र पर माल्यार्पण एवं धूपख् दीप, कपूर एवं अगरबत्ती के पूजन के साथ हुई। इस दौरान डॉ. कश्यप जिला समन्वयक आनंद विभाग, डीपीएल केबी मानसरे मास्टर ट्रेनर्स, नारायण पार्सल एवं संजय गुप्ता ने प्रार्थना के पश्चात अपने-अपने विचाररखे। मास्टर ट्रेनर श्री गुप्ता ने सभी उपस्थित प्रतिभागियों का विशेष तरीके से परिचय लेकर अपने सभी से उनके बचपन का नाम अभिरुचि एवं दायित्व के बारे में जानकारी ली। इस दौरान 8 मिनट की एक वीडियो फिल्म भी दिखाई गई । तत्पश्चात मास्टर ट्रेनर श्री मानसरे द्वारा राज्य आनंद संस्थान आनंद विभाग मध्य प्रदेश शासन द्वारा तैयार किया गया आनंद की ओर वीडियो दिखाकर संस्थान द्वारा पूरे मध्य प्रदेश के विभिन्न शासकीय अधिकारी एवं कर्मचारियों में आनंद की अनुभूति के प्रश्न के उद्देश्य चलाई जा रही गतिविधियों के बारे में बताया। मास्टर ट्रेनर श्री फर्कले ने फ्रीडम ग्लास विधि के माध्यम से स्वयं के भीतर छुपीहुई बुराइयों को सभी के सामने जाहिर किया। राज्य आनंद संस्थान द्वारा आनंदम मास्टर ट्रेनर कोर्स के दौरान 40 दिन का अनुभव और उसके प्रभाव से अल्पविराम आपने लिया । स्वयं के भीतर अपने बचपन के नाम से पुकारती ध्वनि सुनी और इस समय उनके स्वयं के भीतर से वह ध्वनि निकली, ध्वनि से उनके जीवन में बदलाव शुरू हुआ और आज वह एक सफल छोटे उद्योगपति बनकर आनंद विभाग में अपनी सेवाएं दे रहे हैं। कार्यशाला सत्र की शुरुआत में श्री फर्कले द्वारा 30 सेकंड तक सभी प्रतिभागियों से लगातार ताली बजाकर उनके भीतर छिपी हुई अपार क्षमता एवं ऊर्जा से परिचित करवाया। जिला संपर्क जिला समन्वयक आनंद विभाग ने सत्र के दौरान बीच-बीच में मनोरंजन गतिविधियां करवाई एवं सभी उपस्थित प्रतिभागियों से कार्यालय में हुए अनुभव का फीडबैक भी लिया । इस दौरान अन्य अधिकारी, कर्मचारियों ने भी अपने-अपने अनुभव सुन कर शेयरिंग किए। कार्यशाला में विभिन्न विभागों के अधिकारी एवं कर्मचारी उपस्थित हुए । अंत में सभी प्रतिभागियों को मुख्य अतिथि, मास्टर ट्रेनर्स एवं धार जिला समाज में आनंद विभाग के हाथों प्रमाण पत्र भी प्रदान किए गए । कार्यक्रम का संचालन डॉ. कश्यप ने किया एवं राम अवतार सिंह उच्चारिया एवं शंकर लाल प्रजापत ने सभी का धन्यवाद ज्ञापित किया।

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